17-18 अक्टूबर को भारत-चीन सीमा पर हुई बर्फबारी में काल के गाल में समा गए गये थे पोर्टर
एसबीटी न्यूज उत्तराखंड
उत्तरकाशी। जनपद प्रभारी मंत्री गणेश जोशी ने 17-18 अक्टूबर को भारत-चीन सीमा पर हुई बर्फबारी में काल के गाल में समा गए मृतक पोर्टरों के परिजनों से मुलाकात की। उन्होंने पाटा गांव में मृतक पोर्टर दिनेश चौहान, नाल्ड के संजय सिंह और स्यूना के राजेन्द्र सिंह के परिजनों से गंगोरी में मुलाकात की।
इस दौरान मंत्री गणेश जोशी ने मृतक पोर्टरों के परिजनों को आश्वासन दिया कि दिनेश सिंह और संजय सिंह के बच्चों की 1 से लेकर 12 वीं तक की पढ़ाई केंद्रीय विद्यालय में करवाई जाएगी। साथ ही दोनों मृतकों की पत्नियों को उपनल और पीआरडी के माध्यम से नौकरी दी जाएगी। वहीं, स्यूना के मृतक पोर्टर के भाई को भी इसी माध्यम से नौकरी दी जाएगी।
जोशी ने कहा कि सरकार पोर्टरों के परिवारों के साथ है। निर्धारित कार्यक्रम अनुसार प्रभारी मंत्री गणेश जोशी आईटीबीपी के मृतक पोर्टरों के घर पाटा और नाल्ड गांव पहुंचे। वहीं स्यूना गांव के मृतक पोर्टर राजेंद्र के घर जाने के लिए प्रभारी मंत्री को भागीरथी नदी के ऊपर से जा रही ट्रॉली से नदी पार करनी पड़ी। इससे पहले प्रशासन ने मृतक पोर्टरों के परिजनों को स्यूना गांव से ट्रॉली से नदी के दूसरी ओर गंगोरी एक आश्रम में बुला लिया था।
आश्रम में जोशी ने स्यूना गांव के मृतक पोर्टर के पिता से मुलाकात की और हर संभव मदद का आश्वासन दिया। वहीं, मृतक के पिता बृजमोहन सिंह ने मंत्री के सामने अपने गांव के लिए पुल निर्माण की मांग रखी। उन्होंने कहा कि ग्रामीण और बच्चों की जिंदगी भागीरथी नदी के तेज बहाव के ऊपर ट्रॉली में झूल रही है। सालों से इस समस्या का समाधान नहीं हुआ है।
स्यूना के मृतक राजेन्द्र सिंह के पिता बृजमोहन सिंह की मांग पर गणेश जोशी ने डीएम को गांव के झूला पुल के लिए राज्य योजना के तहत प्रस्ताव शासन को भेजने के निर्देश दिए। वहीं, नाल्ड प्रधान सुनील राणा ने प्रभारी मंत्री के सामने गंगोरी-नाल्ड-संगमचट्टी सड़क की बदहाली की समस्या रखी।
जोशी ने कहा कि इस सड़क के संबंध में पीएमजीएसवाई के अधिकारियों को री-टेंडर लगाकर जल्द कार्य शुरू करवाने के निर्देश दिए गए हैं। नाल्ड से गंगोरी लौटते हुए प्रभारी मंत्री गणेश जोशी का काफिला गंगोत्री हाइवे पर गंगोरी में जाम में फंस गया। जिसे खुलवाने में पुलिस को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी।